22 सितंबर से GST की नीति में बदलाव के कारण कई रोज़मर्रा के सामान और बड़े ख़रीदारी आइट्म पर कर दरें घट गई हैं, जिससे आम लोग काफी लाभान्वित होंगे। सरकार ने 3 सितंबर को ही यह घोषणा की थी कि अब केवल दो स्लैब—5 % और 18 %—तह पर ही GST लगेगा।
घटाने के लिए तय प्रमुख वस्तुएँ
- मलेरिया वगैरह जैसे ज़रूरी सामान – घी, पनीर, साबुन, शैंपू, UHT दूध पर कर 12 % से घटकर 5 % हो गया।
- गृह उपयोग की बड़ी खरीदारी – एयर कंडीशनर, कार जैसी वस्तुओं पर भी कर 18 % रहा, जबकि पहले 28 % था।
- सेवा क्षेत्र में भी छूट – होटल बुकिंग, जिम में प्रवेश, फ्लाइट टिकट और सिनेमा टिकटों पर भी कर दर न्यूनतम 5 % तक घटाई गई है। 100 रुपये तक के सिनेमा टिकटों पर 5 % टैक्स, जबकि 100 रुपये से अधिक कीमत पर 18 % टैक्स लागू होगा।
साथ ही, शौक़ीन और विलासिता की वस्तुओं के लिए नया 40 % टैक्स स्लैब बनाया गया है। पान मसाला, तम्बाकू वगैरह को इस श्रेणी में रखा गया है और कुछ कार व बाइक मॉडल भी 40 % स्लैब में आने लगेंगे—पहले ये 28 % के साथ 17 % तक के सेस के अंतर्गत 45 % टैक्स हो सकते थे।
संभावित लाभ और चुनौतियाँ
सरकार का दावा है कि GST 2.0 से आम आदमी को राहत मिलेगी, व्यापार करने में सुविधा होगी तथा समग्र अर्थव्यवस्था को बल मिलेगा। लेकिन कुछ उत्पादों के लिए बढ़ती कीमतें भी संभव हैं, विशेषकर विलासिता के वर्ग में। खुदरा विक्रेताओं ने अभी तक नए रेट लॉन्च नहीं किए हैं; अतः उनके अनुमानित MRP में अभी तक डिस्काउंट शामिल नहीं है।
इन बदलावों के मद्देनज़र ख़रीदारी की लागत में स्पष्ट कमी देखने को मिलेगी, खासकर अगर आप किराने का सामान, घरेलू उपयोग की बुनियादी वस्तुएँ, या फर्नीचर एवं वेलनेस सेवाएँ लेते हैं। उपयोगकर्ताओं को सुझाव दिया जाता है कि वे अपने पसंदीदा उत्पादों के नवीनतम टैक्स स्लैब के बारे में जानकारी रखें, ताकि वे सही कीमत पर खरीद सकें।